अब पुरे देश में पटाखे हुए बैन: सुप्रीम कोर्ट ने जारी की गाइडलाइन

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सुप्रीम कोर्ट का कहना:-

सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को जारी निर्णय में कहा की पटाखों के सम्बन्ध में जो गाइडलाइन जारी की है वह पुरे देश भर के लिए है| सुप्रीम कोर्ट ने 2015 से लंबित एक मामले की सुनवाई करते हुए ये निर्णय लिया है| ये याचिका उस समय अर्जुन गोपाल, आरव भंडारी, और जोया राव भसीन की और से दायर की गई थी| याचिका में पटाखों पर पूरी तरह प्रतिबंध की मांग की गयी थी|

पटाखों पर क्या है गाइडलाइन:-

सुप्रीम कोर्ट ने 23 व 29 अक्टूबर 2018 को जरी गाइडलाइन में कहा था की पटाखों पर पूरी तरह प्रतिबंद नही है सिर्फ वो पटाखे प्रतिबंधित हैं जिनमें बेरियम सॉल्ट होता है| सुप्रीम कोर्ट ने ग्रीन पटाखों को छोड़कर सभी तरह के पटाखों पर प्रतिबंध लगा दिया था| इसके साथ हि सुप्रीम कोर्ट ने पटाखे जलाने का समय भी तय किया था| गाइडलाइन के अनुसार दिवाली पर रात 8 बजे से 10 बजे तक पटाखे फोड़े जा सकते हैं और क्रिश्मस और न्यू इयर पर 11:55 से 12:30 तक पटाखे फोड़े जा सकते हैं|

कुछ दिनों से दिल्ली प्रदूषण कुछ ज्यादा हि बढ़ गया है| अब AQI बढ़ कर 500 तक पहुच चूका है तथा 500 से उपर जाने पर उस हवा को खतरनाक की श्रेणी में डाल दिया जाता है| दिल्ली में AQI लगातार बढती जा रही है इस को देखते हुए सुप्रीम कोर्ट ने 7 नवम्बर 2023 को आदेश जारी किया जिसमे सुप्रीम कोर्ट ने पटाखों को पुरे भारत में बैन कर दिया साथ हि सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली NCR, UP, हरयाणा, राजस्थान, पंजाब को पराली जलाने से भी मना कर दिया| सुप्रीम कोर्ट ने ग्रीन पटाखो के आलावा सभी प्रकार के पटाखों को बैन कर दिया| साथ हि सुप्रीम कोर्ट ने SMOKE TOWER अधिक से अधिक लगवाने का आदेश दिया है|

 

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पटाखों को बैन करने का कारण:-

पटाखों में एलुमिनियम, बेरियम, पोटेशियम नाइट्रेट और कार्बन जैसे खतरनाक केमिकल का इस्तेमाल होता है जो वायु को जहरीला बना रही है|

नोट:-ग्रीन पटाखों पर सुप्रीम कोर्ट को कोई आपति नही क्योकि इस में एलुमिनियम, बेरियम, पोटेशियम नाइट्रेट और कार्बन जैसे खतरनाक केमिकल नही होते या फिर बहुत कम मात्र में होते जिनके के कारण पर्यावरण प्रदूषण पर कोई प्रभाव नही पड़ता तथा ये आवाज भी कम करते है जिससे ध्वनी प्रदूषण नही बहुत कम होता है|

आपको बता दें की 23 अक्टूबर 2018 को सुप्रीम कोर्ट ने सिर्फ ग्रीन पटाखों के निर्माण और बेचने की इजाजत दी थी| लेकिन इसके बाद 2019 में प्र्दुष्ण को देखते हुए 1 दिसम्बर 2020 को NGT ने सभी तरह के पटाखों पर पूरी तरह प्रतिबंध लगाने का आदेश दिया था | इसके बाद DPCC ने 2021 में पटाखों पर पूरी तरह प्रतिबंध लगाया था |2022 में भी पूर्ण प्रतिबंध लगाया गया और इस साल भी सभी तरह के पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने का निर्देश दिया गया है| इस बार सरकार ने दिल्ली में हि नही बल्कि पुरे भारत में पटाखों पर प्रतिबंध लगा दिया है|

अब पुरे भारत में पटाखों को बिक्री और खरीद बंद है | अभी तक मिली सूचना के अनुसार हरियाणा और राजस्थान में ED द्वारा कई जगहों पर रेड डाली गयी है जिसमे बहुत अधिक मात्रा में पटाखे पकड़े गये हैं|

बीजेपी ने कहा ग्रीन पटाखों पर रोक सही नही है:-

सुप्रीम कोर्ट द्वारा पटाखों के प्रतिबंध पर दिल्ली विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष रामवीर सिंह बिधूड़ी ने कहा की दिवाली पर पटाखों पर प्रतिबंध लगाना सही नही है | दिवाली का त्यौहार उत्सव का त्यौहार है इस पर पटाखों पर प्रतिबंध लगाने से करोड़ों लोगों की भावना आहत होगी| उन्होंने कहा की ग्रीन पटाखों से तो प्रदुषण भी नही होता है फिर एसा क्यों किया जा रहा है |

12 नवम्बर को दिवाली है और कुछ घंटो के लिए सरकार पटाखे बजाने की छुट दे सकती है एकतरफा रोक से करोड़ों लोगों की भावना आहत होगी और साथ में जो  लोग पटखा कारोबार में है उनको भारी नुकशान झेलना पड़ेगा |

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